देहरादून। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने मंगलवार को कहा कि उत्तराखंड में वर्तमान सरकार ने बीते चार वर्षों में 26,500 से अधिक युवाओं को सरकारी नौकरियां दी हैं। उन्होंने दावा किया कि यह संख्या पिछली सरकारों की तुलना में दोगुनी से भी अधिक है। धामी ने कहा कि उनकी सरकार का लक्ष्य पारदर्शी भर्ती प्रणाली के माध्यम से हर योग्य युवा को अवसर उपलब्ध कराना है।
मुख्यमंत्री सचिवालय में आयोजित समीक्षा बैठक के दौरान धामी ने कहा कि राज्य सरकार ने भर्ती प्रक्रिया को पूर्णतः पारदर्शी और भ्रष्टाचारमुक्त बनाया है। “हमने युवाओं के भविष्य से खिलवाड़ करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की। भर्ती घोटालों में शामिल लोगों को जेल भेजा गया, और आयोग की कार्यप्रणाली को पूरी तरह से सुधार दिया गया,” उन्होंने कहा।
धामी ने बताया कि वर्तमान सरकार ने विभिन्न विभागों में खाली पदों को भरने के लिए लगातार अभियान चलाया है। शिक्षा, स्वास्थ्य, पुलिस, वन, ऊर्जा और प्रशासनिक सेवाओं में बड़ी संख्या में भर्तियां की गई हैं। इसके अलावा, सहकारिता, परिवहन और तकनीकी शिक्षा विभागों में भी नियुक्तियां प्रक्रिया में हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि युवाओं को सिर्फ सरकारी नौकरियों पर निर्भर नहीं रहना चाहिए। “राज्य सरकार स्वरोजगार और उद्यमिता को भी प्राथमिकता दे रही है। मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना, प्रधानमंत्री मुद्रा योजना और स्टार्टअप नीतियों के तहत हजारों युवाओं को आर्थिक सहायता दी गई है,” उन्होंने कहा।
उन्होंने यह भी बताया कि भर्ती परीक्षाओं की निष्पक्षता सुनिश्चित करने के लिए सरकार ने उत्तराखंड लोक सेवा आयोग (UKPSC) की कार्यप्रणाली में कई सुधार किए हैं। अब परीक्षा प्रक्रिया में तकनीकी पारदर्शिता, निगरानी तंत्र और समयबद्ध परिणाम जारी करने की व्यवस्था की गई है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि युवाओं के प्रति सरकार की प्रतिबद्धता अटूट है। “हमारा प्रयास है कि आने वाले वर्षों में उत्तराखंड को रोजगार के क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनाया जाए,” उन्होंने कहा।
बैठक में मुख्य सचिव, अपर मुख्य सचिव, सचिव कार्मिक और विभिन्न विभागों के प्रमुख सचिव मौजूद रहे।





