चीन पड़ोसी देशों की संप्रभुता के साथ लगातार छेड़खानी कर रहा है। इस कड़ी में चीन ने इस बार अपने पड़ोसी मुल्क नेपाल की एक हस्से में अतिक्रमण करना शुरू कर दिया। यह हिस्सा नेपाल चीन के बॉर्डर पर कोसी राज्य के कीमाथंका गांव पर एक तटबंध का निर्माण करके किया है। जानकारी के मुताबिक इस निर्माण से यहां बहने वाली अरुण नदी के प्रवाह को न सिर्फ प्राकृतिक रूप से चीन ने मोड़ दिया है, बल्कि इस इस अतिक्रमण से अब अगले मानसून में नेपाल के इलाके में बाढ़ का खतरा मंडराने लगा है। देश के केंद्रीय खुफिया एजेंसियों को मिले इनपुट के आधार पर इस बात के प्रमाण मिले हैं। वही विशेषज्ञों का कहना है कि चीन लगातार नेपाल के अलग-अलग हिस्सों में अतिक्रमण कर रहा है। केंद्रीय खुफिया एजेंसियों को मिले इनपुट के आधार पर पता चला है कि चीन ने एक बार फिर नेपाल-टीएआर (चीन) पर कोसी प्रांत के संकुवासभा जिले के उत्तर पूर्व में स्थित गांव किमाथंका में अतिक्रमण किया है। जानकारी के मुताबिक नेपाली जमीन पर बहने वाली अरुण नदी के किनारे तकरीबन एक किलोमीटर लंबा तटबंध का निर्माण किया गया है। चीन की ओर से किया गया यह निर्माण नेपाल की सीमा के भीतर अतिक्रमण के तौर पर हुआ है। खुफिया एजेंसियों को मिले इनपुट के मुताबिक इस निर्माण से नेपाल के हिस्से में कुछ दिन पहले तकरीबन नौ हेक्टेयर से ज्यादा की नेपाली जमीन का नुकसान हो गया। इसके अलावा इस निर्माण से नेपाली इलाकों में बरसात के दौरान बाढ़ का खतरा मंडराने लगा है। हालांकि केंद्रीय खुफिया एजेंसियों के मुताबिक न तो चीन और न ही नेपाल इसे स्वीकार कर रहा है।