देहरादून।
उत्तराखंड में मानसून ने एक बार फिर रफ्तार पकड़ ली है। मौसम विभाग ने अगले 24 घंटे के लिए पहाड़ों में तेज दौर की बारिश का अनुमान जताते हुए येलो अलर्ट जारी किया है। लगातार हो रही बारिश से प्रदेश में जनजीवन प्रभावित है। अब तक 520 सड़कें मलबा और भूस्खलन की चपेट में आकर बंद हो चुकी हैं, जिससे लोगों की आवाजाही बुरी तरह प्रभावित हो रही है।
मौसम विभाग का अलर्ट
भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने चेतावनी दी है कि देहरादून, टिहरी, चमोली, रुद्रप्रयाग, पिथौरागढ़ और बागेश्वर समेत कई पहाड़ी जिलों में तेज बारिश और आंधी-तूफान का दौर देखने को मिल सकता है। निचले इलाकों में नदी-नालों के उफान पर आने का खतरा जताया गया है।
सड़कें बंद, यातायात प्रभावित
लोक निर्माण विभाग (PWD) के मुताबिक, रविवार शाम तक राज्यभर में 520 सड़कें बंद हो गई थीं। इनमें कई राष्ट्रीय और राज्य राजमार्ग भी शामिल हैं। सबसे ज्यादा प्रभावित चमोली, उत्तरकाशी, पिथौरागढ़ और टिहरी जिले हैं, जहां जगह-जगह भूस्खलन के चलते वाहन फंसे हुए हैं। भारी मलबा और बोल्डर हटाने के लिए विभाग की टीमें लगातार काम कर रही हैं, लेकिन लगातार हो रही बारिश से मलबा हटाने की रफ्तार धीमी है।
यात्रियों और स्थानीय लोगों को परेशानी
सड़कों के बंद होने से चारधाम यात्रा और अन्य धार्मिक स्थलों की ओर जाने वाले यात्रियों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले लोग भी बाजार और अस्पताल नहीं पहुंच पा रहे हैं। कुछ जगहों पर लोग पैदल जोखिम उठाकर नालों और टूटी सड़कों को पार कर रहे हैं।
प्रशासन अलर्ट मोड पर
जिलाधिकारी और एसडीआरएफ टीमें प्रभावित इलाकों पर नजर बनाए हुए हैं। प्रशासन ने लोगों से नदी-नालों के किनारे जाने से बचने और अनावश्यक यात्रा न करने की अपील की है। मौसम विभाग का कहना है कि अगले दो से तीन दिनों तक बारिश की तीव्रता बनी रह सकती है, जिससे हालात और बिगड़ सकते हैं।