नई दिल्ली। अगस्त माह की शुरुआत के साथ ही देश में यूपीआई से लेकर क्रेडिट कार्ड और एलपीजी तक कई नियमों में बदलाव होने जा रहा है। इन बदलावों का असर सीधे आम आदमी की जेब और दैनिक लेन-देन पर पड़ेगा। भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम (NPCI) और बैंकों द्वारा किए गए इन संशोधनों का मकसद डिजिटल भुगतान को अधिक सुरक्षित और संगठित बनाना है।
1. UPI नियमों में बड़ा बदलाव
1 अगस्त से UPI यूजर्स प्रत्येक ऐप पर प्रतिदिन केवल 50 बार ही बैलेंस चेक कर सकेंगे। यानी, यदि किसी के पास PhonePe, GPay और Paytm जैसे अलग-अलग UPI ऐप हैं, तो हर ऐप पर बैलेंस चेक करने की सीमा 50 बार होगी। यह कदम सिस्टम पर अतिरिक्त लोड को कम करने के लिए उठाया गया है।
2. Auto Pay मोड की समय सीमा तय
अब ऑटो पेमेंट केवल निर्धारित समयावधि में ही प्रोसेस होंगे:
- सुबह 10:00 बजे से पहले
- दोपहर 1:00 से शाम 5:00 बजे के बीच
- रात 9:30 बजे के बाद
इसके अलावा, यूजर ट्रांजेक्शन की स्थिति को 90 सेकंड के अंतराल में अधिकतम 3 बार ही देख सकेगा।
3. UPI ट्रांसफर में दिखेगा लाभार्थी का पूरा नाम
1 अगस्त से जब भी कोई यूजर UPI से पेमेंट करेगा, तो रिसीवर यानी लाभार्थी का पूरा नाम स्क्रीन पर दिखेगा। इसका उद्देश्य धोखाधड़ी को रोकना और ट्रांजेक्शन में पारदर्शिता लाना है।
4. SBI क्रेडिट कार्ड के नियमों में बदलाव
स्टेट बैंक ऑफ इंडिया ने घोषणा की है कि 1 अगस्त से कुछ सह-ब्रांडेड क्रेडिट कार्ड्स पर दी जा रही ₹1 करोड़ की हवाई दुर्घटना बीमा कवरेज को समाप्त कर दिया जाएगा। ये बदलाव निम्नलिखित कार्ड्स पर लागू होंगे:
- यूको बैंक एसबीआई कार्ड एलीट
- सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया एसबीआई कार्ड एलीट
- पीएसबी एसबीआई कार्ड एलीट
- केवीबी एसबीआई कार्ड एलीट और सिग्नेचर कार्ड
- इलाहाबाद बैंक एसबीआई कार्ड एलीट
5. LPG की कीमतों में संभावित बदलाव
हर महीने की तरह इस बार भी 1 अगस्त को एलपीजी सिलेंडर की कीमतों में बदलाव की संभावना है। तेल कंपनियाँ हर महीने मूल्य की समीक्षा करती हैं, और आवश्यकतानुसार संशोधन करती हैं।
6. RBI की MPC बैठक और EMI पर असर
भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) की मौद्रिक नीति समिति (MPC) की बैठक 4 से 6 अगस्त के बीच होने की संभावना है। इस दौरान रेपो रेट पर चर्चा होगी, जिसका सीधा असर लोन और EMI पर पड़ेगा।