कोटद्वार के गबर सिंह आर्मी कैंप में हृदयाघात से शहीद हुए राइफलमैन लोकेन्द्र प्रताप का अंतिम संस्कार मंगलवार सुबह श्रीनगर के अलकेश्वर घाट पर सैन्य सम्मान के साथ किया गया।
गमगीन माहौल में हुए अंतिम संस्कार में सेना के जवानों के साथ-साथ सैकड़ों ग्रामीणों और परिजनों ने नम आंखों से अपने लाल को विदाई दी। पुष्पचक्र अर्पण और गार्ड ऑफ ऑनर के साथ उन्हें अंतिम सलामी दी गई।
पौड़ी जिले की श्रीनगर तहसील के कटाखोली गांव निवासी 26 वर्षीय लोकेन्द्र प्रताप गढ़वाल राइफल्स की 21वीं बटालियन में आठ साल से सेवारत थे। वर्तमान में वे जम्मू-कश्मीर में तैनात थे और प्रशिक्षण के लिए गबर सिंह आर्मी कैंप, कौड़िया आए हुए थे।
रविवार रात वे भोजन करने के बाद सोए, लेकिन सोमवार सुबह जब साथी सैनिकों ने उन्हें उठाने की कोशिश की, तो वह अचेत अवस्था में पाए गए। तत्काल उन्हें बेस अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया।
परिजनों के अनुसार, रविवार रात लोकेन्द्र की परिवार से आखिरी बार फोन पर बात हुई थी। दुखद यह कि महज चंद दिन पहले – 8 जून को ही उनकी शादी हुई थी।
उनकी अचानक हुई मृत्यु ने पूरे गांव को स्तब्ध कर दिया है। माता-पिता, भाई-भाभी और पत्नी का रो-रोकर बुरा हाल है।
देश की सेवा में समर्पित एक और जवान चुपचाप अपने कर्तव्यों की अंतिम पंक्ति तक पहुंच गया – एक ऐसा वीर, जिसकी विदाई भी गर्व और अश्रुओं के संग हुई।