रूस और यूक्रेन के बीच तुर्किये के इस्तांबुल में हुई ताजा वार्ता में शांति या युद्धविराम पर कोई प्रगति नहीं हो सकी। हालांकि, दोनों पक्ष युद्धबंदियों की अदलाबदली पर सहमत हुए हैं।
सिर्फ एक घंटे चली बैठक, फिर रुकी बातचीत
यह बैठक भारतीय समयानुसार बुधवार देर रात हुई, लेकिन रूस की शर्तों के चलते वार्ता एक घंटे से भी कम समय में समाप्त हो गई। यूक्रेन ने युद्धविराम के लिए इच्छा जताई, मगर कोई सहमति नहीं बन पाई।
डोनाल्ड ट्रंप की चेतावनी के बाद बढ़ा कूटनीतिक दबाव
यह बैठक ऐसे समय हुई जब अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने सितंबर में रूस पर और सख्त प्रतिबंधों की चेतावनी दी है। इससे पहले दोनों पक्ष सात सप्ताह पहले मिले थे — और यह हाल के महीनों में तीसरी मुलाकात थी।
अमेरिका देगा हथियार, पर कीमत यूरोपीय देशों से वसूलेगा
यूक्रेन ने वार्ता में भाग लेने का फैसला तब लिया जब ट्रंप ने हथियार आपूर्ति की मंजूरी दी, लेकिन शर्त रखी कि उसका पूरा मूल्य यूक्रेन के यूरोपीय सहयोगी देश चुकाएंगे।
सीधी वार्ता की इच्छा: जेलेंस्की की नई पहल
इस बार यूक्रेनी राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की ने बदले सुर में रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से सीधी वार्ता की इच्छा जताई है। इससे पहले दोनों देशों की दो वार्ताओं में भी कैदियों की अदला-बदली पर ही सहमति बन सकी थी।
रूस की शर्तें क्या हैं?
- यूक्रेन नाटो में शामिल होने की इच्छा छोड़े
- क्रीमिया और अन्य कब्जे वाले क्षेत्रों पर रूस के अधिकार को मान्यता दे
यूक्रेन इन शर्तों को लगातार खारिज करता आ रहा है।
रूस और यूक्रेन के बीच सीमा पर तनाव जारी है। इस्तांबुल वार्ता में शांति प्रक्रिया पर कोई ठोस कदम नहीं उठाया जा सका। हां, मानवीय आधार पर कैदियों की अदलाबदली पर जरूर सहमति बनी है — जो आने वाले दौर की वार्ताओं की संभावनाओं को जीवित रखती है।