भाजपा ने दिल्ली की सातों लोकसभा सीटों के लिए उम्मीदवारों के चयन की कवायद शुरू कर दी है। रायशुमारी कराने के साथ संसदीय क्षेत्र में संभावित प्रत्याशियों की गतिविधियों पर केंद्रीय नेतृत्व की नजर है। इस बार केंद्रीय नेतृत्व 40 प्रतिशत लोकसभा क्षेत्र के वर्तमान सांसदों को बदलने की नीति पर आगे बढ़ रहा है। उम्मीदवारों की दावेदारी को लेकर आम लोगों में उनकी पहुंच व कार्यकाल के दौरान संसदीय क्षेत्र में कामकाज और छवि का आकलन किया जा रहा है। राजनीति के जानकारों का कहना है कि कांग्रेस के पूर्व नेता महाबल मिश्रा के आप के टिकट पर चुनावी मैदान में आने से पश्चिमी लोकसभा सीट पर भाजपा के उम्मीदवार में बदलाव देखने को मिल सकता है। इसी तरह दिल्ली की एकमात्र सुरक्षित सीट में शामिल उत्तर पश्चिम दिल्ली संसदीय क्षेत्र में भी पार्टी किसी नए चेहरे पर दांव लगा सकती है। चांदनी चौक सीट पर भी बदलाव की पूरी उम्मीद है। तीन सांसदों की दावेदारी पर ग्रहण लगने की अटकलें तेज हो गईं है। बताया जा रहा है कि जिन सांसदों का टिकट कटेगा, उन्हें विधानसभा चुनाव में भी उतारा जा सकता है। भाजपा मार्च के दूसरे सप्ताह तक उम्मीदवारों की घोषणा कर सकती है। दरअसल, आप-कांग्रेस गठबंधन की वजह से पुराना समीकरण बिगड़ गया है।