चमोली: उत्तराखंड के पर्वतीय मार्गों पर सफर के दौरान एक बार फिर जाको राखे साइयां वाली कहावत चरितार्थ हुई है। चमोली जनपद में हरियाणा से आए पर्यटकों की एक कार अनियंत्रित होकर गहरी खाई की ओर जा गिरी, लेकिन सड़क किनारे लगे लोहे के तारों के जाल (वायर क्रेट) में फंसकर लटक गई। इस चमत्कारिक मोड़ ने कार में सवार पांच पर्यटकों को मौत के मुंह में जाने से बचा लिया।
अनियंत्रित होकर सड़क से उतरी कार
जानकारी के अनुसार, हरियाणा नंबर की एक कार बद्रीनाथ हाईवे पर सफर कर रही थी। चमोली के समीप अचानक चालक ने वाहन पर से नियंत्रण खो दिया, जिसके बाद कार तेजी से सड़क किनारे पैरापिट तोड़ते हुए खाई की तरफ बढ़ गई। गनीमत रही कि कार नीचे गिरने के बजाय सड़क को मजबूती देने के लिए लगाए गए ‘वायर क्रेट’ (पत्थरों से भरे तारों के जाल) में जाकर अटक गई।
खाई में लटकती कार और सांसें थाम देने वाला मंजर
कार का आधा हिस्सा हवा में लटका हुआ था और नीचे सैकड़ों फीट गहरी खाई थी। हादसे के बाद मौके पर चीख-पुकार मच गई। स्थानीय लोगों और राहगीरों ने तुरंत साहस दिखाते हुए बचाव कार्य शुरू किया और पुलिस को सूचना दी।
- सुरक्षित रेस्क्यू: स्थानीय लोगों की मदद से कार में सवार सभी पांचों पर्यटकों को एक-एक कर सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया।
- बाल-बाल बचे पर्यटक: सभी पर्यटकों को मामूली चोटें आई हैं, जिन्हें प्राथमिक उपचार के लिए नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र भेजा गया।
वायर क्रेट बना जीवनरक्षक
पहाड़ी रास्तों पर भूस्खलन रोकने और सड़कों को मजबूती देने के लिए लगाए जाने वाले ‘वायर क्रेट’ इस हादसे में जीवनरक्षक साबित हुए। यदि यह जाल वहां मौजूद न होता, तो कार सीधे गहरी खाई में समा जाती और परिणाम बेहद घातक हो सकते थे। पुलिस प्रशासन ने पर्यटकों से अपील की है कि कोहरे और पाले के कारण पहाड़ी सड़कों पर फिसलन बढ़ गई है, अतः वाहन अत्यंत सावधानी से चलाएं।
प्रत्यक्षदर्शी का बयान: “दृश्य इतना खौफनाक था कि हमें लगा कोई नहीं बचेगा। कार हवा में झूल रही थी, लेकिन भगवान का शुक्र है कि वह तारों में उलझ गई और हमें उन्हें बाहर निकालने का समय मिल गया।”





