Monday, December 22, 2025

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एविएशन सेक्टर में अदाणी समूह की ऊंची उड़ान: यात्री विमानों को मालवाहक (Cargo) में बदलने के कारोबार में मारेंगे एंट्री

नई दिल्ली/अहमदाबाद: देश के बुनियादी ढांचा क्षेत्र में दबदबा रखने वाला अदाणी समूह (Adani Group) अब विमानन क्षेत्र में एक नए और रणनीतिक व्यापार की शुरुआत करने जा रहा है। समूह ने घोषणा की है कि वह अब यात्री विमानों को मालवाहक विमानों (Passenger-to-Freighter – P2F) में बदलने के क्षेत्र में कदम रखेगा। इसके साथ ही, अदाणी समूह अपनी ‘अदाणी एविएशन एकेडमी’ के माध्यम से पायलट प्रशिक्षण (Pilot Training) कार्यक्रम का भी व्यापक विस्तार करने की योजना बना रहा है।

P2F कन्वर्जन: विमानन जगत में एक उभरता अवसर

अदाणी समूह की रक्षा और एयरोस्पेस इकाई के माध्यम से इस परियोजना को आगे बढ़ाया जाएगा।

  • क्या है P2F तकनीक: इसके तहत पुराने या सेवा से बाहर हो रहे यात्री विमानों के आंतरिक ढांचे में बदलाव कर उन्हें सामान ढोने वाले (Cargo) विमानों में तब्दील किया जाता है।
  • बढ़ती मांग: ई-कॉमर्स और ग्लोबल लॉजिस्टिक्स की बढ़ती जरूरतों के कारण दुनिया भर में एयर कार्गो की मांग तेजी से बढ़ रही है। अदाणी समूह इस बढ़ती मांग को भुनाने के लिए भारत को एक ‘मेंटेनेंस, रिपेयर और ओवरहाल’ (MRO) हब बनाने की तैयारी में है।

पायलट प्रशिक्षण और कौशल विकास पर जोर

विमानन क्षेत्र में पायलटों की भारी कमी को देखते हुए अदाणी समूह अपने प्रशिक्षण बुनियादी ढांचे को और मजबूत करेगा।

  1. अकादमी का विस्तार: समूह अपनी एविएशन एकेडमी में अत्याधुनिक सिम्युलेटर और प्रशिक्षण विमानों की संख्या बढ़ाएगा।
  2. विश्वस्तरीय ट्रेनिंग: कंपनी का लक्ष्य भारतीय युवाओं को अंतरराष्ट्रीय मानकों पर प्रशिक्षित करना है, ताकि उन्हें घरेलू और विदेशी एयरलाइंस में रोजगार के बेहतर अवसर मिल सकें।
  3. रोजगार सृजन: इस विस्तार से न केवल पायलटों, बल्कि विमानन इंजीनियरों और तकनीशियनों के लिए भी बड़े पैमाने पर नौकरियों के अवसर पैदा होंगे।

रणनीतिक लाभ और भविष्य की योजना

अदाणी समूह पहले से ही देश के कई प्रमुख हवाई अड्डों (जैसे मुंबई, अहमदाबाद और लखनऊ) का संचालन कर रहा है।

  • लॉजिस्टिक्स चेन: यात्री विमानों को कार्गो में बदलने और पायलट ट्रेनिंग के क्षेत्र में उतरने से समूह के पास हवाई अड्डे के संचालन से लेकर विमानों के रख-रखाव तक की एक पूरी ‘इकोसिस्टम’ तैयार हो जाएगी।
  • आत्मनिर्भर भारत: यह पहल भारत को विमानन इंजीनियरिंग के क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम मानी जा रही है।

“हमारा लक्ष्य विमानन क्षेत्र के हर पहलू में उत्कृष्टता प्राप्त करना है। यात्री विमानों को मालवाहक में बदलने और पायलटों को प्रशिक्षित करने की यह पहल भारत को वैश्विक विमानन मानचित्र पर नई पहचान दिलाएगी।” — अदाणी ग्रुप प्रवक्ता

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