Wednesday, December 17, 2025

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इथियोपिया में ‘मोदी मैजिक’: पीएम अबी अहमद ने प्रोटोकॉल तोड़ खुद चलाई कार

अदीस अबाबा: अफ्रीका महाद्वीप के महत्वपूर्ण देश इथियोपिया में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का जादू (Modi Magic) सिर चढ़कर बोल रहा है। द्विपक्षीय यात्रा के समापन पर दोस्ती की एक ऐसी मिसाल देखने को मिली, जिसने अंतरराष्ट्रीय कूटनीति के गलियारों में हलचल मचा दी है। इथियोपिया के प्रधानमंत्री अबी अहमद अली ने न केवल प्रोटोकॉल तोड़ा, बल्कि व्यक्तिगत गर्मजोशी दिखाते हुए खुद कार ड्राइव कर प्रधानमंत्री मोदी को एयरपोर्ट तक छोड़ने गए।

प्रोटोकॉल से परे ‘पर्सनल बॉन्डिंग’

आमतौर पर किसी भी देश के राष्ट्राध्यक्ष की विदाई के समय आधिकारिक काफिला और सुरक्षा प्रोटोकॉल का पालन किया जाता है। लेकिन अदीस अबाबा में नजारा कुछ अलग था:

  • खुद संभाली स्टीयरिंग: प्रधानमंत्री अबी अहमद ने अपनी आधिकारिक कार की ड्राइविंग सीट संभाली और पीएम मोदी उनके बगल वाली सीट पर बैठे।
  • गर्मजोशी भरा विदाई: एयरपोर्ट के रास्ते में दोनों नेताओं के बीच अनौपचारिक बातचीत का दौर चलता रहा, जो दोनों देशों के बीच मजबूत होते रिश्तों की गवाही दे रहा था।
  • सम्मान की पराकाष्ठा: कूटनीति में इसे ‘असाधारण सम्मान’ (Special Gesture) माना जाता है, जो इथियोपिया की नजर में भारत और पीएम मोदी की बढ़ती अहमियत को दर्शाता है।

इथियोपिया में क्यों छाया ‘मोदी मैजिक’?

प्रधानमंत्री मोदी की इस यात्रा ने भारत-अफ्रीका संबंधों को नई ऊंचाई दी है। ‘मोदी मैजिक’ के पीछे कई महत्वपूर्ण कारण माने जा रहे हैं:

  1. ग्लोबल साउथ की आवाज: भारत लगातार इथियोपिया जैसे विकासशील देशों की आवाज संयुक्त राष्ट्र और G20 जैसे मंचों पर उठा रहा है।
  2. डिजिटल और स्वास्थ्य साझेदारी: भारत ने इथियोपिया के साथ डिजिटल इंफ्रास्ट्रक्चर और किफायती दवाइयों के क्षेत्र में कई अहम समझौतों पर हस्ताक्षर किए हैं।
  3. ऐतिहासिक रिश्ते: इथियोपिया में भारतीय समुदाय और शिक्षकों का बड़ा योगदान रहा है, जिसे पीएम अबी अहमद ने सार्वजनिक रूप से सराहा।

ग्लोबल लीडर के रूप में उभरता भारत

यह पहली बार नहीं है जब किसी विदेशी राष्ट्राध्यक्ष ने पीएम मोदी के लिए प्रोटोकॉल दरकिनार किया हो। इससे पहले पापुआ न्यू गिनी और यूएई जैसे देशों में भी इसी तरह के नजारे देखने को मिल चुके हैं। विशेषज्ञों का मानना है कि इथियोपिया के प्रधानमंत्री का खुद कार चलाकर जाना यह संदेश देता है कि भारत अब केवल एक व्यापारिक साझीदार नहीं, बल्कि अफ्रीका का एक भरोसेमंद ‘रणनीतिक मित्र’ बन चुका है।

यात्रा के मुख्य निष्कर्ष

  • शिक्षा और कौशल विकास: भारतीय संस्थानों द्वारा इथियोपियाई युवाओं को प्रशिक्षण देने पर सहमति।
  • कृषि सहयोग: इथियोपिया की खाद्य सुरक्षा को मजबूत करने के लिए भारतीय कृषि तकनीक का हस्तांतरण।
  • सांस्कृतिक आदान-प्रदान: दोनों देशों के बीच पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए नई विमान सेवाओं पर चर्चा।

प्रधानमंत्री मोदी का बयान: “प्रधानमंत्री अबी अहमद की इस गर्मजोशी ने मेरा दिल जीत लिया है। यह केवल मेरा सम्मान नहीं, बल्कि 140 करोड़ भारतीयों के प्रति इथियोपिया का स्नेह है।”

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