महाराष्ट्र में राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी शरद गुट ने प्रवक्ताओं की समिति को भंग कर दिया है। पार्टी में असंतोष की अटकलों के बीच महाराष्ट्र इकाई के अध्यक्ष जयंत पाटिल ने बड़ा कदम उठाया है। महाविकास अघाड़ी गठबंधन में शामिल एनसीपी शरद गुट का इलेक्ट्रॉनिक और प्रिंट मीडिया पर प्रतिनिधित्व करने के लिए 22 प्रवक्ता हैं। पार्टी प्रवक्ता ने कहा कि जयंत पाटिल की ओर से प्रवक्ताओं की समिति को भंग करने के बारे में एक पत्र मिला है और इस कदम का कोई कारण नहीं बताया गया है। हो सकता है कि पार्टी इकाई का पुनर्गठन किया जा रहा है।
महाराष्ट्र में पिछले साल हुए विधानसभा चुनाव में एनसीपी केवल 10 सीटें ही जीत सकी थी। इसके बाद पार्टी के राज्य नेतृत्व के खिलाफ असंतोष बढ़ने की खबरें आ रही थीं। ऐसा कहा जा रहा है कि शरद पवार के पोते और पार्टी विधायक रोहित पवार के प्रदेश अध्यक्ष जयंत पाटिल के साथ अच्छे संबंध नहीं थे। चर्चा यह भी है कि पाटिल भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेतृत्व वाले गठबंधन में शामिल हो सकते हैं। लेकिन पवार और पाटिल दोनों ने इन अटकलों को खारिज कर दिया है। पिछले महीने पार्टी की कार्यसमिति की बैठक में शरद पवार ने संगठन को मजबूत करने पर जोर दिया था। उन्होंने कहा कि था कि चुनावी हार से निराश नहीं होना चाहिए। शरद पवार ने पार्टी नेताओं से लोगों के बीच नए जोश के साथ काम करने और संगठन को भविष्य की चुनौतियों के लिए तैयार करने को कहा।
महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के बाद एनसीपी-एसपी की यह पहली विस्तारित कार्यसमिति बैठक थी। इस बैठक में बोलने वाले कई नेताओं ने विधानमंडलों में विपक्ष की आवाज दबाने और महाराष्ट्र में नफरत फैलाने वाले भाषणों की बढ़ती घटनाओं का आरोप लगाया और संसदीय और विधानसभा क्षेत्रों के आसन्न परिसीमन से उत्पन्न चुनौतियों पर चिंता व्यक्त की।