तिरुवनंतपुरम।
केरल में स्थानीय निकाय चुनाव की तारीखों का ऐलान हो गया है। राज्य निर्वाचन आयोग ने शुक्रवार को घोषणा की कि पंचायत, नगर पालिका और नगर निगमों के लिए मतदान दो चरणों में होगा — पहला चरण 9 दिसंबर और दूसरा चरण 11 दिसंबर को संपन्न कराया जाएगा।
मुख्य चुनाव आयुक्त टी. अब्दुल रहमान ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि चुनाव कार्यक्रम राज्य के सभी 14 जिलों में लागू होगा। पहले चरण में सात जिलों में मतदान होगा, जबकि शेष सात जिलों में दूसरे चरण में मतदाता अपने प्रतिनिधि चुनेंगे। उन्होंने कहा कि चुनाव प्रक्रिया पूरी तरह ईवीएम के माध्यम से कराई जाएगी और मतगणना 13 दिसंबर को होगी।
चुनाव आयोग ने बताया कि इस बार लगभग 3.2 करोड़ मतदाता अपने मताधिकार का प्रयोग करेंगे। राज्य में कुल 21,800 वार्डों और 1,200 से अधिक स्थानीय निकायों के लिए मतदान होना है। इनमें ग्रामीण पंचायतें, ब्लॉक पंचायतें, जिला पंचायतें, नगर पालिकाएं और नगर निगम शामिल हैं।
चुनावी अधिसूचना जल्द जारी की जाएगी, जिसके बाद नामांकन दाखिल करने, नाम वापस लेने और प्रचार की प्रक्रिया औपचारिक रूप से शुरू होगी। आयोग ने सभी जिलों के अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि चुनाव आचार संहिता का कड़ाई से पालन कराया जाए और मतदान केंद्रों पर पर्याप्त सुरक्षा व्यवस्था की जाए।
मुख्य चुनाव आयुक्त ने बताया कि इस बार मतदाताओं की सुविधा के लिए डिजिटल वोटर गाइड और ऑनलाइन बूथ लोकेटर सिस्टम भी शुरू किया जाएगा। इसके अलावा, दिव्यांग मतदाताओं के लिए विशेष सहायता दल तैनात किए जाएंगे।
राजनीतिक दृष्टि से यह चुनाव बेहद अहम माना जा रहा है, क्योंकि इसके जरिए राज्य की जनता एक बार फिर वाम मोर्चा (LDF), यूनाइटेड डेमोक्रेटिक फ्रंट (UDF) और भाजपा गठबंधन (NDA) के बीच अपनी पसंद तय करेगी। विश्लेषकों के अनुसार, स्थानीय निकायों के ये नतीजे आगामी विधानसभा चुनावों के लिए राजनीतिक संकेतक साबित हो सकते हैं।
राज्य सरकार ने कहा है कि वह चुनाव आयोग को पूर्ण सहयोग देगी और यह सुनिश्चित किया जाएगा कि मतदान प्रक्रिया शांतिपूर्ण, पारदर्शी और निष्पक्ष हो।
इस प्रकार, दिसंबर के दूसरे सप्ताह में केरल की राजनीति एक बार फिर जनादेश की परीक्षा से गुजरने वाली है, जिसका असर राज्य के भविष्य के राजनीतिक समीकरणों पर भी गहराई से पड़ेगा।





