इस्राइल ने सोमवार को यमन के लाल सागर के शहर होदेदा बंदरगाह पर हवाई हमले किए। ये हमले ईरान समर्थित हूती विद्रोहियों की ओर से रविवार को इस्राइल के मुख्य हवाई अड्डे के पास मिसाइल हमले के जवाब में थे। इस्राइली सेना ने बयान जारी कर कहा कि ये हमले होदेदा और आसपास के हूती लड़ाकों के ठिकानों को निशाना बनाकर किए गए।
विद्रोहियों के मीडिया कार्यालय ने कहा कि अमेरिका और इस्राइल ने सोमवार दोपहर को होदेदा बंदरगाह पर कम से कम छह हमले किए। विद्रोहियों ने कहा कि अन्य हमलों में होदेदा प्रांत के बाजिल जिले में एक सीमेंट फैक्ट्री को निशाना बनाया गया।
इस्राइली सेना के अनुसार, ये हमले हूती विद्रोही शासन की ओर से इस्राइल और उसके नागरिकों पर बार-बार किए गए हमलों के जवाब में थे, जिसमें सतह से सतह पर मार करने वाली मिसाइलें और ड्रोन शामिल हैं। स्थानीय निवासियों ने बताया कि होदेदा बंदरगाह, अल सलाखानाह और अल हवाक इलाकों पर 10 से अधिक हमले हुए, जबकि चार हमले शहर के पूर्व में एक सीमेंट कारखाने पर किए गए। होदेदा बंदरगाह, अदन के बाद लाल सागर का दूसरा सबसे बड़ा बंदरगाह है, जो यमन के 80 प्रतिशत खाद्य आयात का प्रवेश द्वार है।
बता दें कि हूती विद्रोहियों ने रविवार को इस्राइल के बेन-गुरियन अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर मिसाइल हमला किया था। इस हमले में चार लोग मामूली रूप से घायल हो गए थे। युद्ध की शुरुआत के बाद से हवाई अड्डे पर यह मिसाइल हमला पहली बार हुआ। हालांकि, एक घंटे बाद हवाई यातायात शुरू हो गया, लेकिन हमले के कारण कई एयरलाइनों को रद्द करना पड़ा। हवाई अड्डे पर यह हमला इस्राइली कैबिनेट मंत्रियों द्वारा गाजा में युद्ध बढ़ाने के लिए किए गए मतदान के कुछ घंटे बाद हुआ।
इस्राइली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने रविवार के मिसाइल हमले का बदला लेने की कसम खाई थी। यह मार्च के बाद पहला हमला था। इसे इस्राइल की वायु रक्षा प्रणाली रोक नहीं पाई। हूतियों का यमन के बड़े हिस्से पर नियंत्रण है। उन्होंने गाजा में इस्राइल-हमास युद्ध शुरू होने के बाद से इस्राइल और लाल सागर में जहाजों पर हमले किए हैं, जिसे वे फलस्तीनियों के प्रति एकजुटता बताते हैं।